*आइयां कांतन वालिया*
सुनो सैयां कहे इंद्रावती, तुम आईयां उमेद कर ।
अब समझो क्यों न पुकारते, क्यों रहियां नींद पकर ।।
महावजी भाई की दुकान कहाँ पर थी जहाँ श्री...
Question: महावजी भाई की दुकान कहाँ पर थी जहाँ श्री जी आकर बैठे थे बताईए सुन्दरसाथ जी
Answer: मस्कत बंदरगाह पे सुमुद्र के किनारे पर ही महावजी भाई जी की दुकान थी जहाँ श्री जी आकर बैठ गए थे